सौरव दा
सौरव दा
₹95.00
In stock
Other Buying Options
धनी परिवार में जन्में सौरव को क्रिकेट विरासत में मिली। पापा भी क्रिकेटर थे और भाई भी। 19 साल की उम्र में भारतीय टीम में तो आ गए थे, जल्दी ही बाहर भी हो गए……. लेकिन 1996 में दोबारा टीम में आने के बाद से वह जम गए हैं रम गए हैं। वह जितने अच्छे क्रिकेटर है। उतने अच्छे कप्तान भी। काश। उनकी टीम 2003 का वर्ल्ड कप जीत जाती। कोशिशें तो हुई थीं, लेकिन जीत नहीं पाई।
इस पुस्तक द्वारा यह जानकारी देने वाले राजशेखर मिश्र खेल तथा अन्य विषयों पर एक दर्जन किताबें लिख चुके हैं। बाबू मोशाय की जीवन गाथा का विश्लेषण इस पुस्तक द्वारा आप भी कीजिए।
Additional information
Author | Rajshekhar Mishra |
---|---|
ISBN | 8128808354 |
Pages | 160 |
Format | Paperback |
Language | Hindi |
Publisher | Diamond Books |
ISBN 10 | 8128808354 |
SKU
9798128808356
Categories Autobiography & Memories, Diamond Books
Related Products
Related products
Social Media Posts
This is a gallery to showcase images from your recent social posts