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Rashtraprem Ke 105 Geet (राष्ट्रप्रेम के 105 गीत)-0
Rashtraprem Ke 105 Geet (राष्ट्रप्रेम के 105 गीत)-7731

Rashtraprem Ke 105 Geet (राष्ट्रप्रेम के 105 गीत)

Original price was: ₹175.00.Current price is: ₹174.00.

एम.कॉम, एम.ए., एल.एल.बी., पीएच.डी. बी.जे. राष्ट्रभाषा रत्न। कई व्यंग्य लेख संग्रह प्रकाशित। अनेकों पुरस्कारों से सम्मानित, व्यंग्य पत्रिकाओं में नियमित कॉलम, चर्चित पत्रिका, खनन भारती के पूर्व सम्पादक,शोध लेख भी प्रकाशित।
भारत सरकार के दूरसंचार एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय, सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय, दिल्ली एवं महाराष्ट्र राज्य हिन्दी साहित्य अकादमी के पूर्व हिन्दी सलाहकार।
स्वतंत्रता से पूर्व और आजादी के बाद देश प्रेम के गीत लिखे गए। चीन एवं पाकिस्तान के युद्ध के दौरान सैकड़ों कविताओ ने सैनिक व जनता में जोश भरने का काम किया। तब लेकर आज तक राष्ट्रप्रेम के गीत लिखे जा रहे हैं। आजदी एवं देश को संवारने में इन गीतो बहुत बड़ा योगदान रहा है। इस पुस्तक में देश प्रेम की कविताओं और गीतों का संकलन है। पुस्तक में प्रकाशित सभी रचनाकारों को मेरा सादर नमन है।

 

About the Author

एम.कॉम, एम.ए., एल.एल.बी., पीएच.डी. बी.जे. राष्ट्रभाषा रत्न। कई व्यंग्य लेख संग्रह प्रकाशित। अनेकों पुरस्कारों से सम्मानित, व्यंग्य पत्रिकाओं में नियमित कॉलम, चर्चित पत्रिका, खनन भारती के पूर्व सम्पादक,शोध लेख भी प्रकाशित।
भारत सरकार के दूरसंचार एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय, सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय, दिल्ली एवं महाराष्ट्र राज्य हिन्दी साहित्य अकादमी के पूर्व हिन्दी सलाहकार।

Additional information

Author

Dr. Rejendra Patodia

ISBN

9789355995902

Pages

112

Format

Paperback

Language

Hindi

Publisher

Diamond Books

Amazon

https://www.amazon.in/dp/9355995903

Flipkart

https://www.flipkart.com/rashtraprem-ke-105-geet/p/itmb638b57c665a7?pid=9789355995902

ISBN 10

9355995903

एम.कॉम, एम.ए., एल.एल.बी., पीएच.डी. बी.जे. राष्ट्रभाषा रत्न। कई व्यंग्य लेख संग्रह प्रकाशित। अनेकों पुरस्कारों से सम्मानित, व्यंग्य पत्रिकाओं में नियमित कॉलम, चर्चित पत्रिका, खनन भारती के पूर्व सम्पादक,शोध लेख भी प्रकाशित।
भारत सरकार के दूरसंचार एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय, सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय, दिल्ली एवं महाराष्ट्र राज्य हिन्दी साहित्य अकादमी के पूर्व हिन्दी सलाहकार।
स्वतंत्रता से पूर्व और आजादी के बाद देश प्रेम के गीत लिखे गए। चीन एवं पाकिस्तान के युद्ध के दौरान सैकड़ों कविताओ ने सैनिक व जनता में जोश भरने का काम किया। तब लेकर आज तक राष्ट्रप्रेम के गीत लिखे जा रहे हैं। आजदी एवं देश को संवारने में इन गीतो बहुत बड़ा योगदान रहा है। इस पुस्तक में देश प्रेम की कविताओं और गीतों का संकलन है। पुस्तक में प्रकाशित सभी रचनाकारों को मेरा सादर नमन है।

 

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एम.कॉम, एम.ए., एल.एल.बी., पीएच.डी. बी.जे. राष्ट्रभाषा रत्न। कई व्यंग्य लेख संग्रह प्रकाशित। अनेकों पुरस्कारों से सम्मानित, व्यंग्य पत्रिकाओं में नियमित कॉलम, चर्चित पत्रिका, खनन भारती के पूर्व सम्पादक,शोध लेख भी प्रकाशित।
भारत सरकार के दूरसंचार एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय, सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय, दिल्ली एवं महाराष्ट्र राज्य हिन्दी साहित्य अकादमी के पूर्व हिन्दी सलाहकार।