Such Hue Sapne- Vishv Prashidh Mahilayein (Hindi)

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युगों.युगों से स्त्री चाहे किसी भी देश की बात हो प्रताड़ित और पुरुषों के अधीन मानी जाती रही है। ऐसा नहीं है कि महिला वर्ग ने कभी इस न्याय के खिलाफ आवाज नहीं उठाईए समय.समय पर वह अपने तरीके से शोषण और अत्याचार के विरुद्ध आवाज उठाकर अपने मानवाधिकारों का रक्षण करती आई है। दियों से घर और बाहर दोनों जगहों पर अन्याय झेल रही स्त्री ने सभी विपरीत परिस्थतियों के बावजूद शिक्षाए स्वतंत्रता एवं समानता के दृष्टिकोण से कई ऐसे परचम लहराए हैं जो उन्हें पुरुषों के साथ लाकर खड़ा कर देते हैं। बदलते समय में शिक्षा और आर्थिक निर्भरता के बल पर आज की नारी पहले से कहीं अधिक शक्तिशाली बन सम्मान के साथ अपना जीवन व्यतीत करती है। इस पुस्तक के माध्यम से पाठक.वर्ग दुनिया.भर में अपनी योगयता का डंका पीट चुकी स्त्रियों की संक्षिप्त जीवनी पढ़ सकेंगे। आज की नारी किसी भी तरह से पुरुषों से कम नहीं है। उन्होंने समाज के अनेक क्षेत्र जैसे राजनीतिए समाज सेवाए शिक्षाए उद्योग एवं अर्थशास्त्र आदि में अपना अमूल्य योगदान दिया है।

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युगों.युगों से स्त्री चाहे किसी भी देश की बात हो प्रताड़ित और पुरुषों के अधीन मानी जाती रही है। ऐसा नहीं है कि महिला वर्ग ने कभी इस न्याय के खिलाफ आवाज नहीं उठाईए समय.समय पर वह अपने तरीके से शोषण और अत्याचार के विरुद्ध आवाज उठाकर अपने मानवाधिकारों का रक्षण करती आई है। दियों से घर और बाहर दोनों जगहों पर अन्याय झेल रही स्त्री ने सभी विपरीत परिस्थतियों के बावजूद शिक्षाए स्वतंत्रता एवं समानता के दृष्टिकोण से कई ऐसे परचम लहराए हैं जो उन्हें पुरुषों के साथ लाकर खड़ा कर देते हैं। बदलते समय में शिक्षा और आर्थिक निर्भरता के बल पर आज की नारी पहले से कहीं अधिक शक्तिशाली बन सम्मान के साथ अपना जीवन व्यतीत करती है। इस पुस्तक के माध्यम से पाठक.वर्ग दुनिया.भर में अपनी योगयता का डंका पीट चुकी स्त्रियों की संक्षिप्त जीवनी पढ़ सकेंगे। आज की नारी किसी भी तरह से पुरुषों से कम नहीं है। उन्होंने समाज के अनेक क्षेत्र जैसे राजनीतिए समाज सेवाए शिक्षाए उद्योग एवं अर्थशास्त्र आदि में अपना अमूल्य योगदान दिया है।

Additional information

Author

Renu Saran

ISBN

9788128823725

Pages

32

Format

Paper Back

Language

Hindi

Publisher

Jr Diamond

ISBN 10

8128823728