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Product Description
सत्य की व्यक्तिगत खोज से लेकर ज्वलंत सामाजिक व राजनैतिक प्रश्नों पर ओशो की दृष्टि उनको हर श्रेणी से अलग अपनी कोटि आप बना देती है। उन्होंने ध्यान की ऐसी विधियां प्रस्तुत की है जो आज के गतिशील जीवन को ध्यान में रखकर बनाई गई हैं। ओशो के सक्रिय ध्यान इस तरह बनाए गए हैं कि शरीर और मन में इकट्ठे तनावों से मुक्त हुआ जा सके। इन्हीं सक्रिय ध्यान पर आधारित यह सीरीज है। एकमात्र समस्या, अहिंसा, प्रेम और विवाह, मेडिसन और मेडिटेशन, तृष्णा, युवक और यौन, शरीर मन संतुलन, प्रेम का अर्थ, श्रेष्ठ कौन, जीवन मृत्यु, उत्तरदायित्व
About The Author
ओशो एक ऐसे आध्यात्मिक गुरू रहे हैं, जिन्होंने ध्यान की अतिमहत्वपूर्ण विधियाँ दी। ओशो के चाहने वाले पूरी दुनिया में फैले हुए हैं। इन्होंने ध्यान की कई विधियों के बारे बताया तथा ध्यान की शक्ति का अहसास करवाया है।
हमें ध्यान क्यों करना चाहिए? ध्यान क्या है और ध्यान को कैसे किया जाता है। इनके बारे में ओशो ने अपने विचारों में विस्तार से बताया है। इनकी कई बार मंच पर निंदा भी हुई लेकिन इनके खुले विचारों से इनको लाखों शिष्य भी मिले। इनके निधन के 30 वर्षों के बाद भी इनका साहित्य लोगों का मार्गदर्शन कर रहा है।
ओशो दुनिया के महान विचारकों में से एक माने जाते हैं। ओशो ने अपने प्रवचनों में नई सोच वाली बाते कही हैं। आचार्य रजनीश यानी ओशो की बातों में गहरा अध्यात्म या धर्म संबंधी का अर्थ तो होता ही हैं। उनकी बातें साधारण होती हैं। वह अपनी बाते आसानी से समझाते हैं मुश्किल अध्यात्म या धर्म संबंधीचिंतन को ओशो ने सरल शब्दों में समझया हैं।
उत्तरदायित्व का अर्थ जिम्मेदारी या दायित्व होता है, जिसमें किसी व्यक्ति को अपने कार्यों, निर्णयों और उनके परिणामों के लिए उत्तरदायी माना जाता है।
व्यक्तिगत उत्तरदायित्व वह स्थिति है, जहां व्यक्ति अपने व्यक्तिगत कार्यों और निर्णयों के लिए खुद को जिम्मेदार मानता है और उनके परिणामों का सामना करता है।
सामाजिक उत्तरदायित्व का अर्थ है कि व्यक्ति या संगठन समाज के प्रति अपने दायित्वों का निर्वहन करता है और समाज के कल्याण के लिए काम करता है।
हां, नैतिक उत्तरदायित्व यह सुनिश्चित करता है कि व्यक्ति या संगठन अपने कार्यों को नैतिकता और सही मानकों के अनुसार निभाते हैं।
संगठन में उत्तरदायित्व महत्वपूर्ण होता है क्योंकि इससे कर्मचारियों में जवाबदेही और निष्पक्षता सुनिश्चित होती है, जो संगठन की सफलता में सहायक होता है।
उत्तरदायित्व का संबंध जिम्मेदारी से है, जबकि जवाबदेही का मतलब है कि व्यक्ति को अपने कार्यों का हिसाब देना होता है।
प्रबंधक के पास अपने कर्मचारियों का मार्गदर्शन करने, संगठन के लक्ष्यों को प्राप्त करने, और समस्याओं का समाधान करने का उत्तरदायित्व होता है।
हां, कानूनी उत्तरदायित्व का मतलब है कि व्यक्ति को कानून के अनुसार अपने कार्यों के लिए जवाबदेह होना पड़ता है, जैसे कि अनुबंधों का पालन करना या किसी दुर्घटना के लिए जिम्मेदार होना।
Weight | 40 g |
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Dimensions | 19.8 × 12.9 × 0.2 cm |
Author | Osho |
ISBN | 818419126X |
Pages | 272 |
Format | Paperback |
Language | Hindi |
Publisher | Fusion Books |
ISBN 10 | 818419126X |
उत्तरदायित्व पुस्तक जीवन में जिम्मेदारी और कर्तव्यों के महत्व को दर्शाती है। यह किताब सिखाती है कि कैसे जिम्मेदारियां निभाकर हम अपने जीवन में संतुलन और सफलता प्राप्त कर सकते हैं। पुस्तक व्यक्तिगत और सामाजिक विकास पर ध्यान केंद्रित करती है। सही ढंग से कर्तव्यों को निभाने से हम खुद को और दूसरों को बेहतर जीवन दे सकते हैं। यह एक प्रेरणादायक पुस्तक है जो जीवन में जिम्मेदारी के महत्व को समझने में मदद करती है।
ISBN: 818419126X
Religions & Philosophy, Books, Diamond Books, Religious