Manorama (मनोरमा)

Original price was: ₹150.00.Current price is: ₹149.00.

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प्रेमचंद का सर्वश्रेष्ठ उपन्यास मनोरमा प्रेमचंद भारत की नई राष्ट्रीय और जनवादी चेतना के प्रतिनिधि साहित्यकार थे। अपने युग और समाज का जो यथार्थ चित्रण उन्होंने किया, वह अद्वितीय है। जब उन्होंने लिखना शुरू किया था, तब संसार पर पहले महायुद्ध के बादल मँडरा रहे थे। जब मौत ने उनके हाथ से कलम छीन ली, तब दूसरे महायुद्ध की तैयारियाँ हो रही थीं। इस बीच विश्व-मानव-संस्कृति में बहुत से परिवर्तन हुए। इस परिवर्तन से हिन्दुस्तान भी प्रभावित हुआ और उसने उन परिवर्तनों में सहयोग भी किया। विरासत मानव-संस्कृति की धारा में भारतीय जन-संस्कृति की गंगा ने जो कुछ दिया, उसके प्रमाण प्रेमचंद के उपन्यास और उनकी सैकड़ों कहानियाँ हैं। ‘मनोरमा’ प्रेमचंद का सामाजिक उपन्यास है। रानी मनोरमा के माध्यम से प्रेमचंद ने उस समय की नारी व्यथा को इस उपन्यास में पिरोने का प्रयास किया है। चन्द्रधर का विवाह हो या निर्मला का वियोग इस उपन्यास की सभी घटनाएं तत्कालिक सामाजिक व्यवस्था को देती हैं। ISBN10:-8171829066