इस दुनिया का हर इंसान खाना जुटाने, आश्रय, रुपए-पैसे के सपने देखता है। कोई इंसान सपना देखता है अपने लोगों के सान्निध्य और ऊष्ण स्पर्श का। उपन्यास का नायक सैक्त भी सुखी जीवन बिताने का सपना देखता है। पढ़िए नायक के प्रेम, विछोह और मिलन की अनुपम गाथा।
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इस दुनिया का हर इंसान खाना जुटाने, आश्रय, रुपए-पैसे के सपने देखता है। कोई इंसान सपना देखता है अपने लोगों के सान्निध्य और ऊष्ण स्पर्श का। उपन्यास का नायक सैक्त भी सुखी जीवन बिताने का सपना देखता है। पढ़िए नायक के प्रेम, विछोह और मिलन की अनुपम गाथा।
Additional information
Author | Nimai Bhattacharya |
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ISBN | 8128806092 |
Pages | 128 |
Format | Paperback |
Language | Hindi |
Publisher | Diamond Books |
ISBN 10 | 8128806092 |